NCERT Class 6 Hindi खंड ‘ग’ पूरक पाठ्यपुस्तक बाल रामकथा अध्याय 23 राम और सुग्रीव Question And Answers
NCERT Class 6 Hindi खंड ‘ग’ पूरक पाठ्यपुस्तक बाल रामकथा अध्याय 23 राम और सुग्रीव पाठ का सार
रामसुग्री भेंट
राम-लक्ष्मण ऋष्यमूक पर्वत पर गए। सुग्रीव किष्किंधा के वानरराज के छोटे पुत्र थे, जो ऋष्यमूक पर्वत पर निर्वासित जीवन व्यतीत कर रहे थे।
वे किष्किंधा के मूल निवासी थे, उनका बड़ा भाई बाली था। पिता की मृत्यु के बाद किष्किंधा का राजा ज्येष्ठ पुत्र बाली बना था। राजकाज में मनमुटाव के कारण तथा बाली से अपनी जान बचाने के लिए सुग्रीव अपने साथियों के साथ ऋष्यमूक पर्वत पर रहने लगे थे।
एक दिन जब उसने दो तपस्वी युवकों को अपनी ओर आते हुए देखा, तो उन्हें लगा कि ये बाली के गुप्तचर हैं। तब उन्हें हनुमान ने समझाया और अपना वेश बदलकर उन राजकुमारों के पास पहुँचे।
शिष्टता से प्रणाम करके ने उनका परिचय पूछा। राम-लक्ष्मण ने हनुमान अपना परिचय देकर बताया कि रावण सीता का अपहरण करके ले गया है। वे कबंध और शबरी की सलाह पर सुग्रीव से सीता की खोज करने में सहायता माँगने आए हैं। तब हनुमान अपने मूल रूप में आ गए। उन्होंने राम को प्रणाम करके अपना परिचय दिया कि मैं सुग्रीव का सेवक हनुमान हूँ। हनुमान ने राम-लक्ष्मण को अपने कंधे पर बिठाया और ऋष्यमूक पर्वत पर सुग्रीव के पास पहुँचा दिया। हनुमान ने दोनों को सुग्रीव से मिलवाया। राम और सुग्रीव ने अग्नि को साक्षी मानकर मित्रता का वचन लिया।
सुग्रीव द्वारा सहायता का वचन देना
राम ने सुग्रीव को सीता हरण की बात बताई। अचानक सुग्रीव को कुछ याद आया । सुग्रीव ने बताया कि रावण का रथ इसी पर्वत के ऊपर से गया था। निश्चित रूप से वह सीता माता ही होंगी।
स्वयं को छुड़ाने के लिए वे प्रयास कर रही थीं और वानरों को देखकर उन्होने आभूषणों की पोटली नीचे फेंक दी थी। सुग्रीव द्वारा आभूषण दिखाए जाने पर राम और लक्ष्मण ने आभूषण तुरंत पहचान लिए तब सुग्रीव ने उन्हें सीता की खोज करने में सहायता करने का वचन दिया।
सुग्रीव की व्यथा-कथा
सुग्रीव ने राम को अपनी व्यथा-कथा सुनाई कि कैसे बाली ने उसे राज्य से निकाल दिया और उसकी पत्नी को छीन लिया था। संकट के समय हनुमान और नल-नील ने उसका साथ कभी नहीं छोड़ा। सुग्रीव ने राम से सहायता माँगी। राम ने सुग्रीव को आश्वासन दिया कि वह चिंता न करें, उसकी पत्नी और राज्य दोनों ही उसे अवश्य मिल जाएँगे।
राम द्वारा बाली का वध
सुग्रीव ने बाली की शक्ति के विषय में राम को बताया कि वह महाशक्तिशाली है और शाल के सात वृक्षों को एकसाथ झकझोरने की शक्ति रखता है, उसे हराना इतना आसान नहीं है। सुग्रीव की बातें सुनकर राम ने एक तीर चलाया और शाल के सातों वृक्ष एक ही बाण में गिर पड़े। तब उसे राम की शक्ति पर भरोसा हो गया। योजना के अनुसार, सुग्रीव ने बाली को युद्ध के लिए ललकारा। राम-लक्ष्मण और हनुमान सब छिप गए। सुग्रीव के ललकारने पर बाली गरजता हुआ क्रोध में बाहर निकला।
दोनों में भीषण मल्ल युद्ध हुआ। युद्ध में बाली भारी पड़ रहा था। पेड़ के पीछे छिपे हुए राम ने बाली पर तीर नहीं चलाया। सुग्रीव जान बचाकर ऋष्यमूक पर्वत पर आया। वह राम से गुस्सा था कि उन्होंने बाली को नहीं मारा। राम ने सुग्रीव को समझाया कि तुम दोनों के चेहरे मिलते-जुलते हैं। मैं बाली को पहचान नहीं पाया। राम के समझाने पर सुग्रीव ने फिर से किष्किंधा जाकर बाली को युद्ध के लिए ललकारा। बाली अंतःपुर से बाहर आया तभी राम का बाण उसकी छाती में लगा और उसकी मृत्यु हो गई।
सुग्रीव का राज्याभिषेक
सुग्रीव का शीघ्रता से राज्याभिषेक किया गया और बाली के पुत्र अंगद को युवराज का पद दिया गया। राम किष्किंधा से वापस आ गए। वर्षा के कारण सीता की खोज करने जाना संभव नहीं था। अतः कुछ समय के लिए सीता की खोज का कार्यक्रम स्थगित कर दिया गया, परंतु वर्षा बीत जाने पर राम सुग्रीव की वानर सेना की प्रतीक्षा कर रहे थे, परंतु सुग्रीव रास रंग में अपना वचन भूल गया।
हनुमान ने सुग्रीव को उनके वचन को याद दिलाया। वानर सेना एकत्रित करने का काम सेनापति नल को सौंपा गया। पंद्रह दिन बीतने पर भी सेना राम तक न पहुँची।
लक्ष्मण का किष्किंधा गमन
राम को चिंतित देख क्रोध में लक्ष्मण ने किष्किंधा जाकर धनुष की टंकार की, जिसे सुनकर सुग्रीव को राम को दिया हुआ वचन याद आ गया। सुग्रीव ने हनुमान को वानर सेना एकत्र करने का आदेश देकर स्वयं लक्ष्मण के पीछे निकल पड़ा और राम के सामने जाकर उनसे क्षमा माँगी। तब तक हनुमान, जामवंत काफी वानरों तथा भालुओं के साथ वहाँ पहुँच गए।
लंका रोहण की योजना
वानरों के दलों को चार टोलियों में बाँटा गया। वानरों की सेना भेजने से पहले चतुर बुद्धिमान दूतों को भेजे जाने का विचार हुआ। राम और सुग्रीव की जय-जयकार करते वानर अपनी निर्धारित दिशाओं में चले गए।
राम द्वारा हनुमान को अँगूठी देना
राम ने अपनी एक अँगूठी उतारकर हनुमान को दी। राम ने कहा, जब सीता से भेंट हो, तो यह अँगूठी उन्हें दे देना। अँगूठी देखकर सीता समझ जाएँगी कि तुम मेरे दूत हो। अंगद और हनुमान की अगुआई में वानरों की विशाल टोली ऐसे स्थान पर पहुँची, जिसके आगे अपार भयंकर लहरों वाला विशाल समुद्र सामने था ।
संपाति से भेंट
पहाड़ी के पीछे उनकी भेंट विशाल गिद्ध से हुई। वह संपाति था जटायु का बड़ा भाई। उसने बताया, रावण सीता को लंका ले गया है। वहाँ तक पहुँचने के लिए आप लोगों को समुद्र पार करना होगा। सब थके हुए परेशान बैठे थे। जामवंत ने हनुमान से कहा, आप पवन पुत्र हैं। आप में अपार शक्ति है। यह कार्य आप ही कर सकते हैं। आपको जाना होगा। जामवंत ने हनुमान को उसकी शक्ति की याद दिलाई।
शब्दार्थ
NCERT Class 6 Hindi खंड ‘ग’ पूरक पाठ्यपुस्तक बाल रामकथा अध्याय 23 राम और सुग्रीव बहुविकल्पीय प्रश्न
अभ्यास प्रश्न (बहुविकल्पीय व वर्णनात्मक प्रश्नों सहित)
1. हनुमान ने स्वयं को किसका सेवक बताया था ?
(क) बाली का
(ख) रावण का
(ग) सुग्रीव का
(घ) विभीषण का
उत्तर (ग) सुग्रीव का
2. हनुमान ने राम व लक्ष्मण को ऋष्यमूक पर्वत पर कैसे पहुँचाया?
(क) अपने कंधे पर बैठाकर
(ख) घोड़े गाड़ी द्वारा
(ग) आगे चलकर रास्ता बताते हुए
(घ) वायुयान द्वारा
उत्तर (क) अपने कंधे पर बैठाकर
3. किसकी स्थिति एक जैसी थी ?
(क) सुग्रीव – बाली की
(ख) हनुमान – सुग्रीव की
(ग) सुग्रीव – राम की
(घ) सुग्रीव – लक्ष्मण की
उत्तर (ग) सुग्रीव – राम की
4. सुग्रीव की पत्नी किसने छीन ली थी?
(क) बाली ने
(ख) रावण ने
(ग) अंगद ने
(घ) इनमें से कोई नहीं
उत्तर (क) बाली ने
5. राम का बाण बाली को कहाँ लगा था ?
(क) छाती में
(ख) सिर में
(ग) पेट में
(घ) पैरों में
उत्तर (क) छाती में
6. राम की सलाह पर युवराज पद किसे दिया गया?
(क) नल को
(ख) नील को
(ग) सुग्रीव को
(घ) अंगद को
उत्तर (घ) अंगद को
7. राम ने अपनी अँगुली से अँगूठी उतारकर किसे दे दी ?
(क) सुग्रीव को
(ख) हनुमान को
(ग) अंगद को
(घ) लक्ष्मण को
उत्तर (ख) हनुमान को
8. जामवंत के पीछे किसकी सेना थी?
(क) वानरों की
(ख) मनुष्यों की
(ग) भालुओं की
(घ) घोड़ों की
उत्तर (ग) भालुओं की
9. जटायु के भाई का क्या नाम था ?
(क) जामवंत
(ख) अंगद
(ग) हनुमान
(घ) संपाति
उत्तर (घ) संपाति
NCERT Class 6 Hindi खंड ‘ग’ पूरक पाठ्यपुस्तक बाल रामकथा अध्याय 23 राम और सुग्रीव रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए
1. साधु का वेश बनाकर __________ राम-लक्ष्मण के पास पहुँचे।
उत्तर साधु का वेश बनाकर हनुमान राम-लक्ष्मण के पास पहुँचे।
2. सुग्रीव ___________ का मूल निवासी था।
उत्तर सुग्रीव किष्किंधा का मूल निवासी था।
3. सुग्रीव ‘का छोटा भाई था, दोनों में राजकाज को लेकर मनमुटाव हो गया था।
उत्तर सुग्रीव बाली का छोटा भाई था, दोनों में राजकाज को लेकर मनमुटाव हो गया था।
4. ___________ ने बाली को मार डाला।
उत्तर राम ने बाली को मार डाला।
NCERT Class 6 Hindi खंड ‘ग’ पूरक पाठ्यपुस्तक बाल रामकथा अध्याय 23 राम और सुग्रीव
अतिलघु उत्तरीय प्रश्न
1. राम और लक्ष्मण का अगला पड़ाव क्या था?
उत्तर राम और लक्ष्मण का अगला पड़ाव ऋष्यमूक पर्वत जहाँ सुग्रीव रहते थे, वहाँ पहुँचना था।
2. राम और लक्ष्मण को सुग्रीव से मिलने की सलाह किसने दी थी ?
उत्तर राम और लक्ष्मण को सुग्रीव से मिलने की सलाह कबंध और शबरी दोनों ने ही दी थी।
3. सुग्रीव कौन था?
उत्तर सुग्रीव किष्किंधा के वानरराज बाली का छोटा भाई था।
4. सुग्रीव के प्रमुख साथी कौन थे?
उत्तर सुग्रीव के प्रमुख साथी हनुमान थे।
5. सुग्रीव को किसके डर से ऋष्यमूक पर्वत पर रहने जाना पड़ा था?
उत्तर सुग्रीव को अपने बड़े भाई बाली के डर के कारण ऋष्यमूक पर्वत पर रहने जाना पड़ा था।
6. संकट में पड़ने पर सुग्रीव का साथ किसने दिया?
उत्तर संकट में पड़ने पर सुग्रीव का साथ हनुमान, नल व नील ने दिया।
7. सुग्रीव और राम ने किस प्रकार दोस्ती की?
उत्तर सुग्रीव और राम ने अग्नि को साक्षी मानकर मित्रता का वचन लिया तथा एक दूसरे की सहायता करने का वचन दिया था।
लघु उत्तरीय प्रश्न
1. छद्मवेश धारी हनुमान से राम-लक्ष्मण की भेंट होने पर उन्होंने उनसे क्या पूछा?
उत्तर छद्मवेश धारी हनुमान से राम-लक्ष्मण की भेंट होने पर सर्वप्रथम उन्होंने उन दोनों को शिष्टतापूर्वक प्रणाम किया। फिर उनसे पूछा, “आप दोनों कौन हैं ? आप इस वन में क्यों भटक रहे हो। आप दोनों का वेश तो मुनियों जैसा है, परंतु चेहरे से राजकुमार लगते हो। ”
2. राम और सुग्रीव दोनों में क्या समानता थी?
उत्तर राम और सुग्रीव दोनों ही निर्वासित थे। राम अयोध्या से निर्वासित थे, तो सुग्रीव राजकाज के कारण निर्वासित थे। राम की पत्नी को रावण उठा ले गया था। सुग्रीव की पत्नी उसके बड़े भाई बाली ने छीन ली थी। दोनों के पिता का स्वर्गवास हो चुका था।
3. सीता ने अपने आभूषण क्यों फेंक दिए थे?
उत्तर जब रावण सीता का अपहरण करके ले जा रहा था, तब सीता ने अपने आभूषणों को खोलकर नीचे धरती पर फेंक दिया था, जिससे जब कभी श्रीराम उस मार्ग से गुजरें तो वह उन आभूषणों को पहचानकर अनुमान लगा सकें कि सीता इसी दिशा की ओर गई है।
4. बाली ने सुग्रीव के साथ कैसा व्यवहार किया?
उत्तर बाली सुग्रीव का बड़ा भाई था। बड़ा भाई होते हुए भी उसने अपने छोटे भाई सुग्रीव के साथ बहुत बुरा व्यवहार किया। बाली ने सुग्रीव को राजपाट से निकाल दिया और उसकी पत्नी को भी उसने छीन लिया। बाली का व्यवहार अपने भाई सुग्रीव के प्रति बहुत ही निंदनीय था।
5. सुग्रीव किसके डर से डरा रहता था?
उत्तर सुग्रीव हमेशा अपने बड़े भाई बाली के डर से डरा रहता था। बाली एक महापराक्रमी वानर था । सुग्रीव को हमेशा यह डर रहता था कि उसका बड़ा भाई कभी भी उस पर आक्रमण करके उसे मार सकता है। इसी डर के कारण वह हमेशा डरा रहता था।
6. राम ने सुग्रीव को अपनी शक्ति का परिचय किस प्रकार दिया?
उत्तर राम ने धनुष उठाया और तीर चलाया, जिससे शाल के सातों विशाल वृक्ष एक ही बाण से कटकर गिर पड़े। राम की शक्ति से परिचित होकर सुग्रीव ने हाथ जोड़ लिए तथा उन पर उसे पूर्ण विश्वास हो गया।
7. राम, सुग्रीव से क्षुब्ध क्यों हुए?
उत्तर सुग्रीव ने अपने राज्याभिषेक के समय वादा किया था कि वर्षा ऋतु बीत जाने पर वे सीता की खोज में निकलेंगे। सुग्रीव रास रंग में उलझ गए और राम को दिया गया अपना वचन भूल गए। राम इस बात से चिंतित भी थे और क्षुब्ध भी थे।
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न
1. सुग्रीव कौन था? उसने राम को अपनी क्या व्यथा-कथा सुनाई ?
उत्तर सुग्रीव, बाली का छोटा भाई और किष्किंधा का मूल निवासी था। वह ऋष्यमूक पर्वत पर अपने भाई बाली के डर से निर्वासित जीवन व्यतीत कर रहा था। उसने राम को अपनी व्यथा-कथा इस प्रकार सुनाई कि पिता वानरराज की मृत्यु के बाद दोनों भाइयों में राजकाज को लेकर झगड़ा इतना बढ़ गया कि सुग्रीव को वह मार डालना चाहता था और उसकी पत्नी को भी छीन लिया था। बाली बहुत बलशाली था उसे हराना सरल नहीं था।
संकट के समय हनुमान और नल नील ने सुग्रीव का सदा साथ दिया था। सुग्रीव, बाली के भय के कारण ऋष्यमूक पर्वत पर रहता था। वह सदैव चौकस रहता था। उसकी विश्वासपात्र वानर सेना सदैव पहरे पर रहती थी।
2. राम- -सुग्रीव की भेंट का वर्णन कीजिए।
उत्तर राम व लक्ष्मण कबन्ध व शबरी के कहे अनुसार जब, ऋष्यमूक के निकट पहुँचे तब उनकी भेंट हनुमान से हुई। हनुमान, राम और लक्ष्मण को अपने कंधे पर बैठाकर ऋष्यमूक पर्वत पर ले गए। वहाँ हनुमान ने दोनों को सुग्रीव से मिलवाया। दोनों ने अग्नि को साक्षी मानकर मित्रता का वचन लिया। राम ने सीता हरण के विषय में बताया।
सुग्रीव ने आभूषणों की पोटली राम को दिखाई, जो सीता ने फेंकी थी। राम उन आभूषणों को देखकर पहचान गए कि ये आभूषण सीता के ही हैं। सुग्रीव ने राम की हर प्रकार से सहायता करने का वचन दिया। राम के बाद सुग्रीव ने अपनी करुण कथा सुनाई। सुग्रीव की पूरी बातें सुनकर राम ने कहा, चिंता मत करो। तुम्हें अपनी पत्नी भी मिलेगी और राज्य भी मिलेगा।
3. बाली और सुग्रीव दोनों सगे भाई थे, फिर भी उनके आपसी संबंध अच्छे नहीं थे। आपके अनुसार, भाइयों और बहनों के संबंध कैसे होने चाहिए?
उत्तर बाली और सुग्रीव दोनों के आपसी संबंध अच्छे नहीं थे, जबकि दोनों सगे भाई थे। मेरे अनुसार भाइयों और बहनों के संबंध सदैव मधुर होने चाहिए। आपसी प्रेम और विश्वास होना चाहिए। किसी भी परेशानी में वह एक दूसरे की सहायता करने के लिए तत्पर खड़े रहें। अपने रिश्ते में छोटी-छोटी गलतफहमियों को आपस में बातचीत करके दूर करने की पूरी कोशिश करें एक-दूसरे की भावनाओं का आदर करना चाहिए।
4. जामवंत ने हनुमान के बारे में क्या कहा?
उत्तर वानर सेना के लंका की ओर प्रस्थान करते समय रास्ते में एक बहुत ही बड़ा समुद्र था। वानरों के लिए उस समुद्र को पार करना अत्यंत कठिन था। जामवंत को मालूम था कि केवल हनुमान ही एक ऐसे वानर हैं, जो इस समुद्र को लाँघ सकते हैं हनुमान अपनी इस शक्ति को भूल चुके थे।
जामवंत ने हनुमान को उनकी शक्तियों का एहसास दिलाया। जामवंत को उनकी शक्ति पर पूरा भरोसा था। हनुमान को अपनी भूली हुई शक्तियाँ याद आई तब वह लंका जाने के लिए तथा उस विशाल समुद्र को लाँघने के लिए तैयार हो गए।